हरिद्वार। मध्य प्रदेश के दिवंगत राज्यपाल लालजी टंडन की अस्थियां सोमवार सुबह हर की पैड़ी ब्रह्मकुंड पर पूर्ण विधि-विधान के साथ विसर्जित की गई। उनके पुत्र सुबोध टंडन ने अस्थि विसर्जन किया और कर्मकांड पंडित शैलेश गौतम ने कराया। इस दौरान राज्यपाल बेबी रानी मौर्य समेत कई अन्य लोगों ने श्रद्धांजलि दी। अस्थि प्रवाह करने के दौरान दिवंगत टंडन के पुरोहित माधवराम और लोकेश खेरवाल मौजूद रहे। भूमा पीठाधीश्वर स्वामी अच्युतानंद तीर्थ, भाजपा जिला अध्यक्ष डॉक्टर जयपाल सिंह चैहान, महामंत्री विकास तिवारी दिव्य प्रेम सेवा मिशन के आशीष गौतम, संजय चतुर्वेदी, विमल कुमार, गंगा सभा अध्यक्ष प्रदीप झा, महामंत्री तन्मय वशिष्ठ, मंडल अध्यक्ष वीरेंद्र तिवारी, पूर्व पार्षद कन्हैया खेवरिया, विनीत शर्मा, अविकल राठी आदि लोगों ने लालजी टंडन को श्रद्धांजलि अर्पित की। बता दें कि बिहार के राज्यपाल रह चुके मध्य प्रदेश के राज्यपाल लालजी टंडन का निधन बीती 21 जुलाई की सुबह लखनऊ के मेदांता अस्पताल में इलाज के दौरान हुआ था। वह लंबे समय से बीमार चल रहे थे। सोमवार को स्व. लालजी टंडन की अस्थियां हरकी की पैड़ी पर गंगाजी में प्रवाहित की गई। रविवार को सप्तसरोवर मार्ग स्थित सिद्धपीठ भूमानिकेतन में उनकी अस्थियां पहुंची। स्व. टंडन के पुत्र सुबोध टंडन व अन्य स्वजन अस्थियां लेकर भूमा निकेतन पहुंचे। भूमा पीठाधीश्वर स्वामी अच्युतानंद तीर्थ महाराज ने बताया कि स्व. लालजी टंडन उच्च कोटि के विद्वान तथा एक बेहतरीन राजनीतिज्ञ थे। अपने जीवनकाल में उन्होंने राज्यपाल सहित विभिन्न पदों पर रहते हुए देश सेवा में अनुकरणीय योगदान दिया।
हरिद्वार। कुंभ में पहली बार गौ सेवा संस्थान श्री गोधाम महातीर्थ पथमेड़ा राजस्थान की ओर से गौ महिमा को भारतीय जनमानस में स्थापित करने के लिए वेद लक्ष्णा गो गंगा कृपा कल्याण महोत्सव का आयोजन किया गया है। महोत्सव का शुभारंभ उत्तराखंड गौ सेवा आयोग उपाध्यक्ष राजेंद्र अंथवाल, गो ऋषि दत्त शरणानंद, गोवत्स राधा कृष्ण, महंत रविंद्रानंद सरस्वती, ब्रह्म स्वरूप ब्रह्मचारी ने किया। महोत्सव के संबध में महंत रविंद्रानंद सरस्वती ने बताया कि इस महोत्सव का उद्देश्य गौ महिमा को भारतीय जनमानस में पुनः स्थापित करना है। गौ माता की रचना सृष्टि की रचना के साथ ही हुई थी, गोमूत्र एंटीबायोटिक होता है जो शरीर में प्रवेश करने वाले सभी प्रकार के हानिकारक विषाणुओ को समाप्त करता है, गो पंचगव्य का प्रयोग करने से शरीर की रोगप्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है, शरीर मजबूत होता है रोगों से लड़ने की क्षमता कई गुना बढ़ाता है। उन्होंने कहा कि वर्तमान में वैश्विक महामारी ने सभी को आतंकित किया है। परंतु जिन लोगों की रोग प्रतिरोधक क्षमता मजबूत है। कोरोना उनका कुछ नहीं बिगाड़ पाता है। उन्होंने गो पंचगव्य की विशेषताएं बताते हुए कहा ...
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