हरिद्वार। चतुर्थ श्रेणी राज्य कर्मचारी संघ चिकित्सा स्वास्थ्य के आहवान पर कर्मचारियों ने दूसरे दिन भी अपनी ड्यूटी बिना अन्न ग्रहण किए हुए की। जिलाध्यक्ष शिवनारायण सिंह, जिला मंत्री राकेश भंवर, पूर्व उपशाखा अध्यक्ष नरेंद्र बागड़ी ने कहा कि कर्मचारियों के आंदोलन के 19वें दिन भी कर्मचारियों की बात नही सुनी जा रही है। जिससे कर्मचारियों के सब्र का बांध टूटने का डर है। कर्मचारी उग्र आंदोलन को मजबूर हो रहे हैं। आंदोलन के दूसरे दिन ऋषिकुल आयुर्वेदिक चिकित्सालय के बाहर प्रदर्शन को संबोधित करते हुए प्रदेश महामंत्री दिनेश लखेड़ा ने कहा कि चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों के सबसे अग्रिम पंक्ति में रहने के बावजूद उनके साथ जो सौतेला व्यवहार किया जा रहा है। वो सबको मालूम पड़ गया है कोई भी अधिकारी यह नही चाहते कि चतुर्थ श्रेणी कर्मी आगे बढे। जबकि अन्य विभागों में जैसे पशुपालन विभाग में कमर्चारियों को वेक्सीनेटर पद पर पदोन्नति कर दी गई। सिचाई और शिक्षा विभाग में भी पदोन्नति हुई। लेकिन स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को इस सबसे कोई फर्क नहीं पड़ता है। चिकित्सा स्वास्थ्य विभाग के चतुर्थ श्रेणी कर्मियो का कार्य अन्य चतुर्थ श्रेणी कर्मियो से भिन्न है और टेक्नीकल भी है। इसलिये उनको उद्यान विभाग और निर्वाचन विभाग की भांति 42वें ग्रेड पे अनुमन्य किया जाना न्यायोचित होगा। प्रदर्शन करने वालों में शिवनारायण सिंह, राकेश भंवर, नरेंद्र बागड़ी, दिनेश, नितिन, मोहित मनोचा, दीपक, ममता, अरुण, बाला, रजनी, अजय रानी, सुदेश, अनिता, पूनम, मुन्नी, सुरेश, शीशपाल, मूलचंद चैधरी, महेश कुमार, धर्मसिंह, राजेन्द्र तेश्वर, नरेंद्र बागड़ी, सचिन, दिनेश लखेड़ा आदि शामिल रहे।
हरिद्वार। कुंभ में पहली बार गौ सेवा संस्थान श्री गोधाम महातीर्थ पथमेड़ा राजस्थान की ओर से गौ महिमा को भारतीय जनमानस में स्थापित करने के लिए वेद लक्ष्णा गो गंगा कृपा कल्याण महोत्सव का आयोजन किया गया है। महोत्सव का शुभारंभ उत्तराखंड गौ सेवा आयोग उपाध्यक्ष राजेंद्र अंथवाल, गो ऋषि दत्त शरणानंद, गोवत्स राधा कृष्ण, महंत रविंद्रानंद सरस्वती, ब्रह्म स्वरूप ब्रह्मचारी ने किया। महोत्सव के संबध में महंत रविंद्रानंद सरस्वती ने बताया कि इस महोत्सव का उद्देश्य गौ महिमा को भारतीय जनमानस में पुनः स्थापित करना है। गौ माता की रचना सृष्टि की रचना के साथ ही हुई थी, गोमूत्र एंटीबायोटिक होता है जो शरीर में प्रवेश करने वाले सभी प्रकार के हानिकारक विषाणुओ को समाप्त करता है, गो पंचगव्य का प्रयोग करने से शरीर की रोगप्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है, शरीर मजबूत होता है रोगों से लड़ने की क्षमता कई गुना बढ़ाता है। उन्होंने कहा कि वर्तमान में वैश्विक महामारी ने सभी को आतंकित किया है। परंतु जिन लोगों की रोग प्रतिरोधक क्षमता मजबूत है। कोरोना उनका कुछ नहीं बिगाड़ पाता है। उन्होंने गो पंचगव्य की विशेषताएं बताते हुए कहा ...
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