हरिद्वार। श्री अखण्ड परशुराम अखाड़े के अध्यक्ष पंडित अधीर कौशिक ने राज्य सरकार के 1 अगस्त से स्कूल खोले जाने के फैसले पर चिंता व्यक्त करते हुए कहा कि विशेषज्ञों द्वारा कोरोना की तीसरी लहर आने की आशंका व्यक्त की जा रही है। तीसरी लहर से बच्चों के अधिक प्रभावित होने की आशंका भी व्यक्त की जा रही है। ऐसे में स्कूल खोले जाने का निर्णय उचित नहीं है। उन्होंने कहा कि देश में टीकाकरण अभियान अभी पूरा नहीं हो पाया है। उत्तराखण्ड राज्य में भी टीकाकरण अभियान के तहत अब तक अधिकांश लोगों को टीका नहीं लग पाया है। ऐसे में सरकार का यह निर्णय खतरे से भरा हो सकता है। सरकार को स्कूल खोले जाने के निर्णय पर पुनःविचार करना चाहिए। बच्चों के स्वास्थ्य के साथ किसी भी प्रकार का कोई खिलवाड़ नहीं होने दिया जाएगा। धर्मनगरी में टीकाकरण अभियान भी तेजी से नहीं हो पा रहा है। ग्रामीण व शहरी क्षेत्र के लोग अभी भी दोनों टीक नहीं लगवा पाए हैं। पंडित अधीर कौशिक ने कहा कि कक्षा 6 से कक्षा 12 तक के बच्चों को स्कूल भेजने के निर्णय पर अभिभावक भी चिंतित हैं। कोरोना संक्रमण को लेकर भय की स्थिति अभी लोगों में बनी हुई है। उन्होंने मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी व स्वास्थ्य तथा शिक्षा विभाग से अपील करते हुए कहा कि स्कूल खोले जाने के निर्णय को तत्काल निरस्त किया जाए। बच्चों के स्वास्थ्य के साथ किसी भी प्रकार की लापरवाही नहीं की जानी चाहिए।
हरिद्वार। श्री अखण्ड परशुराम अखाड़े के अध्यक्ष पंडित अधीर कौशिक ने राज्य सरकार के 1 अगस्त से स्कूल खोले जाने के फैसले पर चिंता व्यक्त करते हुए कहा कि विशेषज्ञों द्वारा कोरोना की तीसरी लहर आने की आशंका व्यक्त की जा रही है। तीसरी लहर से बच्चों के अधिक प्रभावित होने की आशंका भी व्यक्त की जा रही है। ऐसे में स्कूल खोले जाने का निर्णय उचित नहीं है। उन्होंने कहा कि देश में टीकाकरण अभियान अभी पूरा नहीं हो पाया है। उत्तराखण्ड राज्य में भी टीकाकरण अभियान के तहत अब तक अधिकांश लोगों को टीका नहीं लग पाया है। ऐसे में सरकार का यह निर्णय खतरे से भरा हो सकता है। सरकार को स्कूल खोले जाने के निर्णय पर पुनःविचार करना चाहिए। बच्चों के स्वास्थ्य के साथ किसी भी प्रकार का कोई खिलवाड़ नहीं होने दिया जाएगा। धर्मनगरी में टीकाकरण अभियान भी तेजी से नहीं हो पा रहा है। ग्रामीण व शहरी क्षेत्र के लोग अभी भी दोनों टीक नहीं लगवा पाए हैं। पंडित अधीर कौशिक ने कहा कि कक्षा 6 से कक्षा 12 तक के बच्चों को स्कूल भेजने के निर्णय पर अभिभावक भी चिंतित हैं। कोरोना संक्रमण को लेकर भय की स्थिति अभी लोगों में बनी हुई है। उन्होंने मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी व स्वास्थ्य तथा शिक्षा विभाग से अपील करते हुए कहा कि स्कूल खोले जाने के निर्णय को तत्काल निरस्त किया जाए। बच्चों के स्वास्थ्य के साथ किसी भी प्रकार की लापरवाही नहीं की जानी चाहिए।
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