हरिद्वार। तीर्थनगरी में हुई धर्म संसद से उठा विवाद अभी थमा ही नही था कि आयोजकों द्वारा अब उत्तर प्रदेश के अलीगढ़ में आगामी 22, 23 जनवरी 2022 को भी धर्म संसद की तैयारी की जा रही है, जिसकी सफलता और विरोधियों की बुद्धि शुद्धि के लिए गुरूवार को हरिद्वार में गंगा घाट पर हवन एवं बंगलामुखी का पूजन किया गया। ज्ञात रहे कि पिछले 17 से 19 दिसंबर तक हरिद्वार के भूपतवाला में स्थित वेद निकेतन धाम में आयोजित हुई। इस सम्बन्ध में पत्रकारों से वार्ता करते हुए धर्म संसद के मुख्य आयोजक जूना अखाड़ा के महामंडलेश्वर स्वामी यति नरसिंहानंद गिरी ने कहा कि धर्म की रक्षा हेतु भगवान से आशीर्वाद और शक्ति प्राप्त करने के लिए आज भगवान सेवा और मां भगवती के रूप बांग्ला मुखी का पूजन किया गया। इस पूजन के माध्यम से धर्म की रक्षा हेतु दर्शकों को शक्ति प्रदान करने की ईश्वर से प्रार्थना की गइ। राशि धर्म संसद जैसे आयोजनों का विरोध करने वाले लोगों की बुद्धि शुद्धि के लिए ही है हवन यज्ञ ईश्वर उनको शक्ति प्रदान करें। साथ ही उन्होंने कहा कि उनकी जो लड़ाई हिंदू धर्म के जागरण के लिए चल रही है व लगातार चलती रहेगी इसके लिए जो मुद्दे हरिद्वार की धर्म संसद में उठाए गए वह पहले भी उठते रहे हैं विवाद केवल इसलिए बनाया जा रहा है क्योंकि उनके द्वारा इस्लामी जेहाद की सच्चाई को उजागर कर दिया गया है। अलीगढ़ में आयोजित होने जा रही धर्म सरस्वती मुख्य आयोजक महामंडलेश्वर साध्वी अन्नपूर्णा ने बताया कि आगामी 22 और 23 दिसंबर को अलीगढ़ में धर्म संसद का आयोजन किया जा रहा है इसके लिए सभी साधु-संतों सहित हिंदू धर्म की सेवा में लगे हर व्यक्ति को आमंत्रित किया गया है उन्होंने यहां दोहराया कि हरिद्वार में हो कि धर्म शास्त्र के अनुसार है अलीगढ़ में होने वाले धर्म संसद इस्लामिक जिहाद के खिलाफ और हिंदू धर्म की रक्षा को लेकर क्या उपाय किए जाएं इसी पर की जा रही है।
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