हरिद्वार। मानव अधिकार संरक्षण समिति की एक बैठक समिति के कार्यालय हरिद्वार में आहुत की गयी। समिति द्वारा मानव अधिकार को प्रमुखता से जोड़ने के लिए नए नामों समिति के पदाधिकारी ने अनुमोदन किया। समिति के राष्टीªय अध्यक्ष ई मधुसूदन अग्रवाल ने समिति में दो पदाधिकारियों के नामों की घोषणा की, जिसमें आर०के० गर्ग को राष्ट्रीय उपाध्यक्ष एवं अंजलि महेश्वरी को राष्ट्रीय मंत्री सर्वसम्मति से मनोनीत किया गया है। मधुसूदन अग्रवाल कहा कि मानव अधिकार संरक्षण समिति अनवरत समाज सेवा के क्षेत्र में उल्लेखनीय कार्य कर रही है। लोगों के मूल अधिकारों को दिलाने के लिए समय≤ पर आयोजन भी कर रही है। आर०के० गर्ग ने मनोनयन के बाद बोलते हुये कहा कि मानव अधिकार संरक्षण समिति जमीनी स्तर पर कार्य कर रही है। समिति ने मुझे जो दायित्व दिया है उसका निर्वाह पूर्ण निष्ठा के साथ करूंगा। समिति अनेक स्थानों पर विभिन्न शिविर लगाकर समाज सेवा कर रही है। अंजलि माहेश्वरी ने कहा कि महिलायें प्रत्येक क्षेत्र में पुरूष के बराबर कार्य कर रही है। मगर समिति के माध्यम से लोक अदालत जैसे कार्यो के प्रति जागरूक करना जरूरी है। इस क्षेत्र में कार्य करने की अत्यन्त आवश्यकता है। यह कार्य समिति के दायित्व निर्वहन करते हुए लोक अदालतों के माध्यम से महिलाओं को न्याय दिलवाने का कार्य किया जाएगा। बैठक में जगदीश लाल पाहवा,डा0 विशाल गर्ग,एस आर गुप्ता,विमल कुमार गर्ग,जितेन्द्र कुमार शर्मा, प्रवीण वैदिक,अंकुर गोयल,नानक चन्द्र अग्रवाल, अन्नपूर्णा बंधुनी,हेमन्त सिंह नेगी,डा0पंकज कौशिक, राजीव राय,सत्यवती अग्रवाल,रेखा नेगी,इरा गुप्ता,रश्मि गुप्ता,विजय अग्रवाल,पूनम गुप्ता,डॉ सुनील बत्रा,आर के शर्मा, तेज प्रकाश साहू, सत्यवती अग्रवाल, रवीकान्त गुप्ता,लतिका गोयल,करुणा माहेश्वरी, ब्रिजबाला गुलाटी,डा0 अतर सिंह, डा0 पवन सिंह आदि उपस्थित रहे।
हरिद्वार। कुंभ में पहली बार गौ सेवा संस्थान श्री गोधाम महातीर्थ पथमेड़ा राजस्थान की ओर से गौ महिमा को भारतीय जनमानस में स्थापित करने के लिए वेद लक्ष्णा गो गंगा कृपा कल्याण महोत्सव का आयोजन किया गया है। महोत्सव का शुभारंभ उत्तराखंड गौ सेवा आयोग उपाध्यक्ष राजेंद्र अंथवाल, गो ऋषि दत्त शरणानंद, गोवत्स राधा कृष्ण, महंत रविंद्रानंद सरस्वती, ब्रह्म स्वरूप ब्रह्मचारी ने किया। महोत्सव के संबध में महंत रविंद्रानंद सरस्वती ने बताया कि इस महोत्सव का उद्देश्य गौ महिमा को भारतीय जनमानस में पुनः स्थापित करना है। गौ माता की रचना सृष्टि की रचना के साथ ही हुई थी, गोमूत्र एंटीबायोटिक होता है जो शरीर में प्रवेश करने वाले सभी प्रकार के हानिकारक विषाणुओ को समाप्त करता है, गो पंचगव्य का प्रयोग करने से शरीर की रोगप्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है, शरीर मजबूत होता है रोगों से लड़ने की क्षमता कई गुना बढ़ाता है। उन्होंने कहा कि वर्तमान में वैश्विक महामारी ने सभी को आतंकित किया है। परंतु जिन लोगों की रोग प्रतिरोधक क्षमता मजबूत है। कोरोना उनका कुछ नहीं बिगाड़ पाता है। उन्होंने गो पंचगव्य की विशेषताएं बताते हुए कहा ...
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