हरिद्वार। श्री पंचायती अखाड़ा बड़ा उदासीन के मुखिया महंत दुर्गादास महाराज ने मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी और डीजीपी अशोक कुमार से अखाड़े के महंतों को सुरक्षा उपलब्ध कराने की मांग की है। मुखिया महंत दुर्गादास महाराज ने कहा कि अखाड़े की संपत्ति को खुर्दबुर्द कर अपनी निजी संपत्ति अर्जित करने के मामले में अखाड़े द्वारा कुछ संतों को अखाड़े से निष्कासित किया गया था। संतों के निष्कासन के बाद से ही श्री पंचायती अखाड़ा बड़ा उदासीन के खिलाफ साजिश की जा रही है। मुखिया महंत दुर्गादास महाराज ने कहा कि बिहार के पटना से हरिद्वार आकर एक संत द्वारा अराजक तत्वों के भड़कावे में आकर अखाड़े के विरुद्ध दुष्प्रचार किया जा रहा है। जबकि उस संत का अखाड़े से कोई लेना देना नहीं है। संत जिस स्थान का अपने आपको महंत बता रहा है। वह भी प्रमाणित नही है। अखाड़े के खिलाफ बयानबाजी कर रहे संत को अखाड़ा परंपरा का भी कोई ज्ञान नहीं है। पुलिस प्रशासन को अनर्गल बयानबाजी कर रहे संत से पूछताछ करनी चाहिए। एक दूसरे राज्य से आए संत द्वारा अखाड़े के खिलाफ बयाजनबाजी के पीछे अराजक तत्वों द्वारा अखाड़े का माहौल खराब करने की संभावना साफ नजर आ रही है। उन्होंने कहा कि इस मामले में अखाड़े का प्रतिनिधिमंडल जल्द ही मुख्यमंत्री और डीजीपी से वार्ता कर अखाड़े के महंतों को सुरक्षा प्रदान करने की मांग करेगा। मुखिया महंत दुर्गादास महाराज ने कहा कि श्री पंचायती अखाड़ा बड़ा उदासीन महान संतों की विरासत है। किसी को भी अखाड़े की संपत्ति को खुर्दबुर्द नहीं करने दिया जाएगा। इस दौरान महंत जयेंद्र मुनि,महंत गोविंददास व महंत प्रेमदास भी मौजूद रहे।
हरिद्वार। श्री पंचायती अखाड़ा बड़ा उदासीन के मुखिया महंत दुर्गादास महाराज ने मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी और डीजीपी अशोक कुमार से अखाड़े के महंतों को सुरक्षा उपलब्ध कराने की मांग की है। मुखिया महंत दुर्गादास महाराज ने कहा कि अखाड़े की संपत्ति को खुर्दबुर्द कर अपनी निजी संपत्ति अर्जित करने के मामले में अखाड़े द्वारा कुछ संतों को अखाड़े से निष्कासित किया गया था। संतों के निष्कासन के बाद से ही श्री पंचायती अखाड़ा बड़ा उदासीन के खिलाफ साजिश की जा रही है। मुखिया महंत दुर्गादास महाराज ने कहा कि बिहार के पटना से हरिद्वार आकर एक संत द्वारा अराजक तत्वों के भड़कावे में आकर अखाड़े के विरुद्ध दुष्प्रचार किया जा रहा है। जबकि उस संत का अखाड़े से कोई लेना देना नहीं है। संत जिस स्थान का अपने आपको महंत बता रहा है। वह भी प्रमाणित नही है। अखाड़े के खिलाफ बयानबाजी कर रहे संत को अखाड़ा परंपरा का भी कोई ज्ञान नहीं है। पुलिस प्रशासन को अनर्गल बयानबाजी कर रहे संत से पूछताछ करनी चाहिए। एक दूसरे राज्य से आए संत द्वारा अखाड़े के खिलाफ बयाजनबाजी के पीछे अराजक तत्वों द्वारा अखाड़े का माहौल खराब करने की संभावना साफ नजर आ रही है। उन्होंने कहा कि इस मामले में अखाड़े का प्रतिनिधिमंडल जल्द ही मुख्यमंत्री और डीजीपी से वार्ता कर अखाड़े के महंतों को सुरक्षा प्रदान करने की मांग करेगा। मुखिया महंत दुर्गादास महाराज ने कहा कि श्री पंचायती अखाड़ा बड़ा उदासीन महान संतों की विरासत है। किसी को भी अखाड़े की संपत्ति को खुर्दबुर्द नहीं करने दिया जाएगा। इस दौरान महंत जयेंद्र मुनि,महंत गोविंददास व महंत प्रेमदास भी मौजूद रहे।
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