हरिद्वार। वरिष्ठ नागरिक सामाजिक संगठन ने केंद्र सरकार द्वारा पेश किए गए अंतरिम बजट को वरिष्ठ नागरिकों के लिए निराशाजनक बताया है। बजट पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए वरिष्ठ नागरिक सामाजिक संगठन के अध्यक्ष चौधरी चरण सिंह ने कहा कि देश के लगभग 14 करोड़ वरिष्ठ नागरिक को कोरोना काल में बंद कर दी गयी रेल किराए में मिलने 40 से 50 फीसदी रियायत फिर से शुरू होने की उम्मीद थी। लेकिन सरकार ने इस संबंध में कोई घोषणा नहीं की। साधारण और स्लीपर बोगियां बढ़ने की उम्मीद भी सरकार से लगायी जा रही थी। जिससे आम लोग सुविधा से यात्रा कर सकें। लेकिन बजट में इस संबंध में भी कोई घोषणा नहीं की गयी। इसके उलट वंदेभारत ट्रेनों के लिए बोगियों के निर्माण की घोषणा की गयी है। जिससे ऐसा लगता है कि सरकार अमीरों को सुविधा दे रही है और आम जनता के कल्याण का ढोल पीटा जा रहा है। उन्होंने कहा कि वरिष्ठ नागरिकों के लिए आर्थिक सहयोग हेतु भी कोई योजना शुरू नहीं की गयी। भरण-पोषण पेंशन पर निर्भर वरिष्ठ नागरिकों, दिव्यांगों, विधवाओं और असहाय जीवन जी रहे लोगों को आशा थी कि पूरे देश में पेंशन राशि समान कर दी जाएगी। उत्तराखंड में पेंशन राशि 1500 रूपए मासिक है। जबकि राजस्थान व हरियाणा में 2500 रूपए मासिक है। ईपीएस 95 पेंशन जो मात्र 1000 रूपए है,में बढ़ोतरी की भी कोई घोषणा बजट में नही की गयी। जिससे वरिष्ठ नागरिकों को निराशा हुई है। वरिष्ठ नागरिक सामाजिक संगठन के सदस्यों डीपीएस अग्रवाल, विद्या सागर गुप्ता,एससीएस भास्कर, भोपाल सिंह, रामसागर, महेन्द्र सिंह, सुभाष चन्द्र ग्रोवर, अशोक पाल, एसके शर्मा, एसएन बत्रा, बाबूलाल, शिवकुमार, अतर सिंह, एचसी चावला, डीडी शर्मा, संतोख सिंह, बीएल सिंह, सत्यपाल चांदना, अरूण राणा, बीसी गोयल, बदन सिंह, श्याम सिंह, ताराचंद, एपी गौड, महेन्द्र चौहान, गिरधारीलाल, शिवचरन, अतर सिह, आरबी शर्मा आदि ने भी बजट को निराशाजनक बताया।
हरिद्वार। कुंभ में पहली बार गौ सेवा संस्थान श्री गोधाम महातीर्थ पथमेड़ा राजस्थान की ओर से गौ महिमा को भारतीय जनमानस में स्थापित करने के लिए वेद लक्ष्णा गो गंगा कृपा कल्याण महोत्सव का आयोजन किया गया है। महोत्सव का शुभारंभ उत्तराखंड गौ सेवा आयोग उपाध्यक्ष राजेंद्र अंथवाल, गो ऋषि दत्त शरणानंद, गोवत्स राधा कृष्ण, महंत रविंद्रानंद सरस्वती, ब्रह्म स्वरूप ब्रह्मचारी ने किया। महोत्सव के संबध में महंत रविंद्रानंद सरस्वती ने बताया कि इस महोत्सव का उद्देश्य गौ महिमा को भारतीय जनमानस में पुनः स्थापित करना है। गौ माता की रचना सृष्टि की रचना के साथ ही हुई थी, गोमूत्र एंटीबायोटिक होता है जो शरीर में प्रवेश करने वाले सभी प्रकार के हानिकारक विषाणुओ को समाप्त करता है, गो पंचगव्य का प्रयोग करने से शरीर की रोगप्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है, शरीर मजबूत होता है रोगों से लड़ने की क्षमता कई गुना बढ़ाता है। उन्होंने कहा कि वर्तमान में वैश्विक महामारी ने सभी को आतंकित किया है। परंतु जिन लोगों की रोग प्रतिरोधक क्षमता मजबूत है। कोरोना उनका कुछ नहीं बिगाड़ पाता है। उन्होंने गो पंचगव्य की विशेषताएं बताते हुए कहा ...
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