हरिद्वार। निरंजन पीठाधीश्वर आचार्य महामंडलेश्वर स्वामी कैलाशानंद गिरी महाराज ने कहा कि धार्मिक अनुष्ठानों से वातावरण में सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है। जिससे विश्व का कल्याण होता है। श्री दक्षिण काली मंदिर में श्रद्धालु भक्तों को संबोधित करते हुए स्वामी कैलाशानंद गिरी महाराज ने कहा कि नील घारा गंगा तट स्थित श्री दक्षिण काली मंदिर सिद्ध पीठ है। भक्तों और विश्व के कल्याण के लिए मंदिर में 15दिनों तक नवरात्र उत्सव का आयोजन किया जाता है। इस दौरान मां दक्षिण काली के निमित्त हवन यज्ञ के साथ कई धार्मिक अनुष्ठानों का आयोजन किया जाता है। इसी क्रम में यंत्रार्चन कार्यक्रम का आयोजन किया गया। उन्होंने कहा कि धर्म शास्त्रों में यंत्र पूजन का बड़ा महत्व है। यंत्र मेें स्वयं मां भगवती और भगवान वास करते हैं। यंत्र पूजन से दैहिक, दैविक एवं भौतिक ग्रह शांत होते हैं। कुंडलिनी जागृत होती है। इस दौरान स्वामी अवीतांनद सहित संत-महापुरूष एंव भक्त मौजूद रहे।
हरिद्वार। कुंभ में पहली बार गौ सेवा संस्थान श्री गोधाम महातीर्थ पथमेड़ा राजस्थान की ओर से गौ महिमा को भारतीय जनमानस में स्थापित करने के लिए वेद लक्ष्णा गो गंगा कृपा कल्याण महोत्सव का आयोजन किया गया है। महोत्सव का शुभारंभ उत्तराखंड गौ सेवा आयोग उपाध्यक्ष राजेंद्र अंथवाल, गो ऋषि दत्त शरणानंद, गोवत्स राधा कृष्ण, महंत रविंद्रानंद सरस्वती, ब्रह्म स्वरूप ब्रह्मचारी ने किया। महोत्सव के संबध में महंत रविंद्रानंद सरस्वती ने बताया कि इस महोत्सव का उद्देश्य गौ महिमा को भारतीय जनमानस में पुनः स्थापित करना है। गौ माता की रचना सृष्टि की रचना के साथ ही हुई थी, गोमूत्र एंटीबायोटिक होता है जो शरीर में प्रवेश करने वाले सभी प्रकार के हानिकारक विषाणुओ को समाप्त करता है, गो पंचगव्य का प्रयोग करने से शरीर की रोगप्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है, शरीर मजबूत होता है रोगों से लड़ने की क्षमता कई गुना बढ़ाता है। उन्होंने कहा कि वर्तमान में वैश्विक महामारी ने सभी को आतंकित किया है। परंतु जिन लोगों की रोग प्रतिरोधक क्षमता मजबूत है। कोरोना उनका कुछ नहीं बिगाड़ पाता है। उन्होंने गो पंचगव्य की विशेषताएं बताते हुए कहा ...
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