हरिद्वार। पिछले तेरह दिनों से जारी शारदीय कॉवड मेला महाशिवरा िके अवसर पर विभिन्न शिवालयों में जलाभिषेक के साथ ही समापन हो गया। इस वर्ष कॉवड मेले के दौरान अब तक लााखों कॉवडियें गंगाजल लेकर अपने अपने गंतव्य की ओर प्रस्थान कर चुके है। इसके साथ ही बुधवार को पंचपुरी के विभिन्न शिववालयों में जलाभिषेक करने के लिए श्रद्वालुओं का सैलाब उमड पडा। पुलिस प्रशासन की माने तो शारदीय कावड़ मेले में मेला प्रारंभ होने से आज सांय आरती दर्शन तक लगभग 18लाख शिव भक्तों द्वारा हरिद्वार हर की पैड़ी के विभिन्न घाटों से जल लेकर अपने-अपने गंतव्य को रवाना हो गये है।
हरिद्वार। कुंभ में पहली बार गौ सेवा संस्थान श्री गोधाम महातीर्थ पथमेड़ा राजस्थान की ओर से गौ महिमा को भारतीय जनमानस में स्थापित करने के लिए वेद लक्ष्णा गो गंगा कृपा कल्याण महोत्सव का आयोजन किया गया है। महोत्सव का शुभारंभ उत्तराखंड गौ सेवा आयोग उपाध्यक्ष राजेंद्र अंथवाल, गो ऋषि दत्त शरणानंद, गोवत्स राधा कृष्ण, महंत रविंद्रानंद सरस्वती, ब्रह्म स्वरूप ब्रह्मचारी ने किया। महोत्सव के संबध में महंत रविंद्रानंद सरस्वती ने बताया कि इस महोत्सव का उद्देश्य गौ महिमा को भारतीय जनमानस में पुनः स्थापित करना है। गौ माता की रचना सृष्टि की रचना के साथ ही हुई थी, गोमूत्र एंटीबायोटिक होता है जो शरीर में प्रवेश करने वाले सभी प्रकार के हानिकारक विषाणुओ को समाप्त करता है, गो पंचगव्य का प्रयोग करने से शरीर की रोगप्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है, शरीर मजबूत होता है रोगों से लड़ने की क्षमता कई गुना बढ़ाता है। उन्होंने कहा कि वर्तमान में वैश्विक महामारी ने सभी को आतंकित किया है। परंतु जिन लोगों की रोग प्रतिरोधक क्षमता मजबूत है। कोरोना उनका कुछ नहीं बिगाड़ पाता है। उन्होंने गो पंचगव्य की विशेषताएं बताते हुए कहा ...
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